Sunday, December 22, 2024

सच की विडंबना

सच की विडंबना यही है 
कि झूठ उसे मारने की ताकत रखता है। 

कितना झूठ है सच का यह समझना 
कि वह हमेशा सच माना जाएगा,

कि अंत में जीत उसी की होगी 
और झूठ हार जाएगा,

कि न्याय हमेशा उसके पक्ष में होगा 
और झूठ को दंड मिलेगा,

कि ईमानदारी ही बेहतरीन नीति है 
और बेईमान का मुँह काला होता है 

सच, न्याय पर विश्वास कर ठगा जाता है 

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