Tuesday, March 25, 2025

मानवता की प्रगति

हम चार पांवों पर 
चला करते थे 

तरक्की की 
दो पांवों पर चले 

फिर तरक्की की 
जानवरों पर लदकर चले 

और तरक्की की 
तो मशीनों को दौड़ा कर चले 

थोड़ी और 
अब आसमान को चीरकर चले 

हिमालय पर पहुंचे 
फिर चंद्रमा और मंगल पर भी 

इन सभी चरणों में 
मानव शरीर जितना ऊंचा चढ़ा

मानवता उतनी ही नीचे गिरती गई। 

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